गाज़ियाबाद। प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ जी का प्रबुद्ध सम्मेलन में गाजियाबाद आने का कार्यक्रम है और उनके हर बार आगमन पर प्रशासन द्वारा होने वाली ड्रिल की तरह सुबह 6 बजे ही पुलिस प्रशासन गाजियाबाद पेरेंट्स एसोसिएशन की अध्य्क्ष सीमा त्यागी को हाउस अरेस्ट अर्थात नजरबंद करने उनके आवास पहुँच गई। ऐसा लगता है कि गाजियाबाद पेरेंट्स एसोसिएशन के पदाधिकारी सामाजिक व्यक्ति नहीं अपितु अपने ही देश में शिक्षा के क्षेत्र विकास को लेकर समाज के लिए आवाज उठाने पर आतंकवादी और देशद्रोही बना दिये गये हैं। मुख्यमंत्री का पद क्या किसी विचारधारा विशेष का गुलाम है या पूंजीपतियों द्वारा बंधक बना रिमोट कंट्रोल से चलने वाला रोबोट? क्या यह ये सरासर अन्याय नहीं है? क्या मुख्यमंत्री जी को शिक्षा के मुद्दे को सुनने से इतना डर लगता है? । यह न केवल अन्याय है बल्कि लोकतंत्र के साथ खिलवाड़ करने की कोशिश भी जिसे कोई भी स्वाभिमानी नागरिक स्वीकार नहीं करेगा।
गाज़ियाबाद पेरेंट्स असोसिएशन ने सोशल मीडिया पर वह वीडियो भी डाली है, जिसमें सीमा त्यागी पुलिस द्वारा भेजे गये दल के माध्यम से शासन और प्रशासन से पूछ रहीं हैं कि क्या वह आतंकवादी हैं या क्या वह देश द्रोही हैं? और क्या मुख्यमंत्री जी को शिक्षा के मुद्दे से डर लगता है जो इस मुद्दे पर काम करने वाली संस्था को अपने हर कार्यक्रम से दूर रखना चाहते हैं? मुख्यमंत्री जी का आगमन शाम को है और पुलिस प्रशासन सुबह 6 बजे ही गाजियाबाद पेरेंट्स एसोसिएशन की अध्य्क्ष को हाउस अरेस्ट करने घर पहुँच गया है, अब इसका जबाव जनता को सोचना है कि क्या राजनीतिक दल सत्ता सुख प्राप्त करने के बाद आम जनता से मिलने से भी बचते हैं और केवल छाँट छाँट कर ही लोगों से मिल केवल सिक्के के एक पहलु को ही दुनिया को दिखाते हैं? गाजियाबाद पेरेंट्स एसोसिएशन के कार्यलय पर भी सुबह 5 बजे से ही पुलिस पहुँच गई है।