गाजियाबाद। 25 जुलाई को द्रौपदी मुर्मू जी ने भारत के 15 वे राष्ट्रपति के रूप में शपथ ग्रहण की। मुर्मू जी की कर्मशील होने और शिक्षा के प्रति उनके समर्पण को इस तथ्य से बल मिलता है कि 1997 में अपना राजनीतिक जीवन शुरू करने से पहले उन्होंने रायरंगपुर स्थित अरबिंदो इंटीग्रल एजुकेशन सेंटर में शिक्षिका के रूप में सेवाएं दीं। गाज़ियाबाद पेरेंट्स असोसिएशन ऐसी विभूतियों का साथ ढूंढता ही है जो शिक्षा क्षेत्र में सुधार और विकास के प्रति सम्वेदनशील हों। जीपीए को तो शिक्षा की व्यवस्था में सुधार के अपने एजेंडा पर बात करने का अवसर चाहिए। और इस बार यह अवसर आ गया है नव निर्वाचित राष्ट्रपति से मिल उन्हें बधाइयाँ देकर शिक्षा क्षेत्र में सुधार की आशा में बैठे अभिभावकों की तरफ राष्ट्रपति जी का ध्यान आकर्षित करने का। गाज़ियाबाद पेरेंट्स एसोसिएशन ने अपनी तरफ से फिर एक बार पहल कर दी है और महामहिम राष्ट्रपति जी से समय लेकर उनसे भेंट करने का निवेदन प्रेषित कर दिया है। देश मे शिक्षा के अत्यंत गम्भीर विषय, राज्यो में सरकारी स्कूलों की स्थिति, एक देश एक शिक्षा एक बोर्ड का गठन एवं देश मे शिक्षा के बढ़ते व्यवसायीकरण को रोकने के विषय पर वार्ता के लिए गाजियाबाद पेरेंट्स एसोसिएशन टीम के एक प्रतिनिधिमंडल ने राष्ट्रपति जी मिलने के लिए समय का अनुरोध किया है जिससे कि राष्ट्र के अभिभावकों, विद्यार्थियों एवं शिक्षा से संबंधित समस्याओं से उन्हें अवगत कराया जा सके।
जीपीए के पदाधिकारियों को आशा ही नही पूर्ण विश्वास है कि गाजियाबाद पेरेंट्स एसोसिएशन के प्रतिनिमण्डल को महामहिम राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू जी मिलने का गौरव प्राप्त होगा ।